वित्तीय बाज़ार

भारतीय अर्थव्यवस्था आज दुनिया की सबसे से तेज़ी से बढ़ती अर्थव्यवस्था है तथा इसके 2020 तक 5 खरब अमेरिकन डॉलर होने की उम्मीद है। निजी आय में बढ़ोतरी कॉर्पोरेट पुनर्गठन, वित्तीय नियमन, वित्तीय बाज़ारों के उदारीकरण, भारतीय वित्तीय उद्योग में आने वाले वर्षों में ज़बरदस्त वृद्धि का आनंद लेने की उम्मीद है। प्रौद्योगिकी और बुनियादी ढांचे में निरंतर वृद्धि एवं तीव्र विकास के साथ वित्तीय सेवाओं का एक बढ़ता हुआ हिस्सा केंद्रीयकृत हो जाएगा।

पिछले दशक में भारत के वित्तीय सेवा क्षेत्र में अभूतपूर्व वृद्धि देखी गई है। यह 3 मिलियन से अधिक लोगों को रोज़गार देता है, लगभग 5% सकल घरेलू उत्पाद तैयार करता है तथा 200 बिलियन अमेरिकन डॉलर से अधिक के बाज़ार पूंजीकरण का अनुमान है।

एक वर्षीय पूर्णकालिक (वित्तीय बाज़ार) प्रबंधन में स्नातकोत्तर डिप्लोमा विधिवत रूप से अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद से अनुमोदित है। कार्यक्रम वित्तीय उद्योग की बदलती जरूरतों एवं भविष्य की आवश्यकताओं पर विचार करता है ताकि आपको वित्तीय बाज़ार में आने वाले अवसरों को पूरा करने के लिए आवश्यक समसामयिक कौशल और ज्ञान के साथ सुसज्जित किया जा सके।

(वित्तीय प्रबंधन) प्रबंधन में स्नातकोत्तर कार्यक्रम, राष्ट्रीय वित्तीय प्रबंधन संस्थान द्वारा तैयार किया गया एक वर्षीय कार्यक्रम है जिसका उद्देश्य व्यावसायिकों का विकास करके उन्हें शेयर बाज़ार, जिंस बाज़ार, विनियामक निकायों, बाज़ार मध्यस्थों, बैंकों, म्युचुअल फंड्स, परिसंपत्तियाँ प्रबंधन कंपनियाँ तथा अन्य समान इकाइयों वाली कंपनियों में ज़िम्मेदारी वाले पदों पर बैठने में सक्षम बनाना है।

कार्यक्रम की विशिष्टता, कार्यक्रम के लिए विशेषज्ञों के रूप में बाज़ार पेशेवरों के व्यापक उपयोग में है। पूंजी बाज़ार से संबन्धित शैक्षणिक अवधारणाओं में ठोस आधार के अलावा, प्रतिभागियों को वरिष्ठ नियामक अधिकारियों, एक्स्चेंजों के अधिकारी, अग्रणी व्यापारी बैंक तथा विदेशी संस्थागत निवेशकों के साथ बातचीत करने का मौका मिलेगा।

कार्यक्रम का स्वरूप विस्तृत प्रकार का है, जिसमें वित्तीय बाज़ार अर्थात इक्विटि, ऋण, म्युचुअल फंड्स, इक्विटि डेरीवेटिव्स, मुद्रा डेरीवेटिव्स, जिंस इत्यादि जैसे वित्तीय बाज़ार के सभी प्रमुख क्षेत्र शामिल है। जो भी हासिल करने की मांग की गई है वह प्रासंगिक शैक्षणिक ज्ञान तथा वित्तीय बाज़ार में इसके प्रयोग का एक आदर्श मिश्रण है। कार्यक्रम के लिए अध्यापन शास्त्र में शैक्षणिक कक्षाएं, मामला अध्ययन, पैनल चर्चा, प्रस्तुतीकरण तथा राष्ट्रीय और विदेशी वित्तीय केन्द्रों का दौरा शामिल है।

बनावटी बाज़ार स्थिति, व्यापार एवं निवेश सॉफ्टवेयर के जरिये कौशल विकास पर विशेष ज़ोर दिया गया है ताकि छात्र बाज़ार के लिए तैयार रहें।

कार्यक्रम के प्रभावशाली प्रतिपादन के लिए प्रयुक्त वित्तीय डेटा विश्लेषण के लिए उचित प्रशंसा की आवश्यकता है। संस्थान प्रतिभागियों को सूचना प्रौद्योगिकी अंतरपृष्ट के विभिन्न उदाहरणों में प्रयुक्त सूचना प्रौद्योगिकी द्वारा तैयार पाठ्यक्रम के तदनुसार सीखने की सुविधा प्रदान करता है।